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Monday 2 November 2009

शाहरूख़ - सपनों के सफ़र का कामयाब मुसाफिर


एक शख़्स जिस का चेहरा हज़ारों के ख़्वाबों की तस्वीर, एक ऐसा अदाकार जिस का ज़माना दीवाना, एक ऐसा इंसान जिसके रोने का अंदाज़ लाखों हसीनाओं की नींदें उड़ा दे, एक ऐसा दीवाना जिसकी चाहत हर किसी का सपना, उसकी हर अदा, हर अंदाज़, हर नख़रा और हर अहसास सभी के तंहाईयों का साथी है।

आंखों में हजारों सपने, चेहरे पर लहराता हौसला, मंजिल तक पहुंचने का जोश और कड़ी मेहनतों के बल बूते पर दुनिया में अपना नाम पैदा करने का ख़्वाब लिए जब शाहरूख खान ने मुम्बई के माया नगरी में क़दम रखा तो शायद उस ने यह कभी ना सोचा होगा की वह देखते देखते बॉलीवुड का बादशाह बन कर किंग खान के नाम से जाना जाने लगेगा और दुनिया उसकी एक झलक पाने के लिए बेताब होगी। मगर शायद किसमत शाहरूख पर कुछ ज़्यादा ही मेहरबान थी या फिर ये उस अदाकार की सलाहियतों का कमाल था कि कामियाबी हर मोड़ पर उसका रास्ता देखती नज़र आई। कुछ भी हो मगर शाहरूख के सुहाने फिल्मी सफर ने जहां उनके चाहने वालों की भीड़ पैदा कर दी वहीं उन के सपनों को भी बहुत हद तक सच साबित कर दिया।

दीवाना के राजा सहाय से लेकर बिल्लू का साहिर खान बनने में शाहरूख की अपनी उम्र के तकरीबन 17 साल लग गए। इस बीच शाहरूख चमतकार करते हुऐ राजू बन गया जेन्टिल मैन से दिल आशना है के करन के रूप में छाए रहे। माया मेमसाब और किंग अंकल के रूप में दिखते दिखते हार कर जीतने वाले को बाज़ीगर कहते हैं की गुहार लगा कर कब बाज़ीगर बन गया अंदाज़ा ही ना हो सका लेकिन शाहरूख अपने कैरियर की बलंदियों तक पहुंचने में जरूर कामियाब होगए। बाज़ीगर बनकर फिल्मफेयर बेस्ट एक्टर का अवॉर्ड हासिल करने वाले विकी मल्होत्रा ने जब डर में राहुल मेहरा बन कर अपनी इमेज बदली तो फिर पूरी फिल्म में कि...किरन के लिए भागते रहने वाले शाहरूख को बेस्ट विलेन के अवॉर्ड के लिए चुन लिया गया। ये उनकी बेपनाह सलाहियतों का ही जौहर था कि इश्क आशिकी के रंगों और प्यार मोहब्बत की दास्तोनों को अपनी अदा देने वाला शाहरूख जब एक विलेन के रूप में नज़र आया तो लोगों ने उसे सराहने में कोई कमी ना छोड़ी।


शाहरूख़ की जिंदगी कभी हां कभी ना के अंजाम से गुज़री और फिर क्या था करन अर्जुन का ज़माना दीवाना होगया। गुड्डू ओह डार्लिंग कहते कहते आशिकों को समझा गया कि दिलवाले दुल्हनियां ले जाएंगे।

राम जाने इंग्लिश बाबू देसी मेम की चाहत में ऐसा फंसा की आर्मी ने उसे दुशमन दुनिया का बदरू बना दिया। कोयला में मिली परेशानियों ने यसबॉस का रास्ता दिखाया और शाहरूख अर्जुन सागर बन कर परदेस को चला गया। गंगा ने जब दिल तो पागल है का फलसफा समझाया तो शाहरूख़ डुबलीकेट दिलसे कुछ कुछ होता है कहता हुआ बॉलीवुड़ का बादशाह बन गया। फिर भी दिल है हिंदुस्तानी के जोश ने हर दिल जो प्यार करेगा के राहुल को मुहब्बतें के राज आरयन के रूप में शाहरूख़ को बिग बी के सामने खड़ा कर दिया। वन 2 का 4 की गिनती सीखते सीखते अशोका कभी खुशी कभी गम की मार झेलते हुए हम तुम्हारे हैं सनम का ऐलान करते हुए देवदास बन गया।

चलते चलते कल हो न हो भी सामने आगई। मैं हूं ना ने वीर-ज़ारा के रिश्तों को स्वदेश में मशहूर करदिया। कभी अलविदा न कहना की पहेली बुझाने वाला डॉन चक दे इण्डिया के नगमें सुना गया। ओम शांति ओम का पाठ करने वाले शाहरूख की दुआ कबूल हुई और फिर क्या था रब ने बना दी जोड़ी। मगर पिक्चर तो अभी बाक़ी है मेरे दोस्त बिल्लू का साहिर इतनी जलदी दम लेना वाला नहीं उसे तो दुनिया को ये भी बताना है कि माई नेम इज़ ख़ान, और ख़ान मतलब शाहरुख़ खान जिसका आज जन्म दिवस है।

अदाकारी के मैदान में नए नए तरीके इजाद करने वाला शाहरूख आज के अदाकारों का रोल माडल है। उसने सिर्फ अदाकारी ही नही की बल्कि अपुन बोला तू मेरी लैला वो बोली फेंकता है साला जैसे हिट गानों को अपनी आवाज़ भी दी। फिल्मों को प्रोड्यूस भी किया मगर जब ख़ून के हर क़तरे में अदाकारी का रंग भरा हो तो कोई और चीज़ कैसे उस पर हावी हो सकती है। यही हुआ शाहरूख के साथ भी जितनी कामयाबी और जितना नाम उनकी अदाकारी ने उन्हें दिया और किसी चीज़ से उतना हासिल ना हो सका। खैर इतना तो सच है कि जो भी चाहूं वो मैं पाऊं ज़िंदगी में जीत जाऊं, चाँद तारे तोड़ लाऊं सारी दुनिया पे मैं छाऊं, यार तू भी सुन ज़रा आरज़ू मेरी है क्या, मान जा ए ख़ुदा इतनी है दुआ मैं बन जाऊं सबसे बड़ा, मेरे पीछे मेरे आगे हाथ जोड़ें दुनिया वाले, शान से रहूं सदा मुझ पर लोग हों फ़िदा बस इतना सा ख्वाब है ...की शाहरूख़ की दुआ ख़ुदा ने कबूल करली है।

6 comments:

Sonalika said...

kya baat hai? lafjo ki jadugari to koi aap se sekhe

kshama said...

Kya dua karen ham? Ek nazo-duaa yaad aa gayee:
Lab pe aatee hai duaa banke tamanna meree,
Zindagee shamm kee soorat ho khudata meree..."

Isse achhe dua aur chaah kya ho saktee hai? Kisee se chhota bada hone kee chahat nahee..

vandana gupta said...

bahut badhiya.

अमृत कुमार तिवारी said...

भाई, तुम्हारे लेखन का मुरीद हो गया हूं...

Anonymous said...

shakhsiyato se bahut pyar hai apko razi sahab...aajkal mere blog par nahi aa rahe....
www.amrithindiblog.blogspot.com par aaiye

शबनम खान said...

Shagrukh khan ki zindgi ko chand lafzo me samet dia aapne...bohot khubsurat shabd...aapki ye pehli post padi ha...kaafi kuch sikhne ko milega aapse...aise hi margdarshan karte rahiye....